निगमायुक्त सुश्री तपस्या परिहार की विशेष मौजूदगी में बुधवार को राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों को दी गई एसआईआर प्रक्रिया की जानकारी
कलयुग की कलम से राकेश यादव

निगमायुक्त सुश्री तपस्या परिहार की विशेष मौजूदगी में बुधवार को राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों को दी गई एसआईआर प्रक्रिया की जानकारी
कलयुग की कलम कटनी – भारत निर्वाचन आयोग द्वारा जारी किये गये मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण कार्यक्रम एसआईआर के बारे में जानकारी देने निगमायुक्त सुश्री तपस्या परिहार की विशेष मौजूदगी में बुधवार को राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों को विशेष पुनरीक्षण कार्यक्रम के तहत शुद्ध मतदाता सूची तैयार करने से संबंधित प्रक्रिया के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई।बैठक के दौरान राज्य स्तरीय मास्टर ट्रेनर श्री राकेश बारी द्वारा विस्तारपूर्वक जानकारी देते हुये बताया गया कि विशेष गहन पुनरीक्षण के तहत मृत, स्थानांतरित, डुप्लीकेट व अपात्र मतदाता हटाने का काम किया जायेगा। साथ ही नए पात्र मतदाता जोड़े जायेंगे।

इस दौरान भारतीय जनता पाटी के प्रतिनिधि श्री सौरभ अग्रवाल एवं दीपक तिवारी एवं डिप्टी कलेक्टर प्रदीप मिश्रा मौजूद थे।बैठक में जानकारी दी गई कि स्वतंत्रता के बाद भारत निर्वाचन आयोग द्वारा मतदाता सूचियों का यह 9वां विशेष गहन पुनरीक्षण कार्य किया जा रहा है। मध्यप्रदेश में इससे पहले वर्ष 2002-2004 में विशेष गहन पुनरीक्षण का कार्य किया गया था।
भारत निर्वाचन आयोग द्वारा जारी किए गए विशेष गहन पुनरीक्षण कार्यक्रम के तहत मुद्रण व प्रशिक्षण का कार्य 28 अक्टूबर से 3 नवम्बर तक किया जायेगा। घर-घर गणना का काम 4 नवम्बर से 4 दिसम्बर तक होगा। प्रारूप मतदाता सूची का प्रकाशन 9 दिसम्बर को किया जायेगा। इस सूची से संबंधित दावे व आपत्तियां 9 दिसम्बर से 8 जनवरी तक प्राप्त की जायेंगीं। संबंधित रजिस्ट्रीकरण अधिकारी द्वारा नोटिस दिए जाने अर्थात सुनवाई व प्रमाणीकरण का चरण 9 दिसम्बर से 31 जनवरी तक चलेगा। वहीं अंतिम मतदाता सूची का प्रकाशन 7 फरवरी 2026 को किया जायेगा।
*बीएलओ घर-घर जाकर देंगे गणना प्रपत्र*
मध्यप्रदेश सहित देश के 12 राज्यों में एसआईआर की घोषणा के साथ ही भारत निर्वाचन आयोग द्वारा मतदाता सूची फ्रीज कर दी गई है। इसी आधार पर प्रत्येक मतदाता के लिये ईआरओ व एईआरओ द्वारा विशिष्ट गणना पत्रक (ईएफएस) तैयार किए जायेंगे। बीएलओ घर-घर जाकर यह गणना प्रपत्र वितरित करेंगे। साथ ही मतदाता का अपना नाम या अपने परिजन का नाम पिछले एसआईआर (वर्ष 2002-2004) की मतदाता सूची के मिलान व लिंक करने में मदद करेंगे। गणना पत्रक भरने के लिये मतदाता को कोई भी दस्तावेज जमा नहीं करना है।
*पिछले एसआईआर से मिलान न होने पर अपनानी होगी यह प्रक्रिया*
अगर पिछले एसआईआर से मिलान नहीं होता है तब ईआरओ संबंधित व्यक्ति को नोटिस देकर सूचित करेंगे। साथ ही सुनवाई का मौका देंगे। इस दौरान वह व्यक्ति आयोग द्वारा निर्धारित एक दर्जन से अधिक पहचान दस्तावेजों में से कोई एक प्रस्तुत कर अपना नाम जुड़वा सकेगा। इन दस्तावेजों में सक्षम प्राधिकारी द्वारा जारी जन्म प्रमाण-पत्र, पासपोर्ट, मान्यता प्राप्त बोर्ड या विश्वविद्यालय द्वारा जारी मैट्रिक शैक्षिक प्रमाण-पत्र, स्थानीय निवास प्रमाण-पत्र, वन अधिकार प्रमाण-पत्र, जाति प्रमाण-पत्र, राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर, राज्य या निकाय द्वारा जारी पारिवारिक रजिस्टर, सरकार द्वारा जारी भूमि व मकान का आवंटन प्रमाण-पत्र, आयोग द्वारा जारी निर्देशों के तहत आधारकार्ड, सरकार या सार्वजनिक उपक्रम द्वारा जारी पेंशन पहचान व भुगतान पत्र, सरकार स्थानीय निकाय, बैंक, डाकघर, एलआईसी, सार्वजनिक उपक्रम द्वारा जारी पहचान पत्र, प्रमाण-पत्र व दस्तावेज इत्यादि शामिल हैं।
*बीएलओ तीन बार जायेंगे मतदाता के घर*
एसआईआर के तहत बीएलओ हर मतदाता के घर तक जायेंगे। यदि पहली व दूसरी बार में मतदाता या उसके परिजन घर पर नहीं मिलते हैं तो वह तीसरी बार भी घर पर जाकर डेटाबेस से मिलान करायेंगे और मतदाताओं की पूरी मदद करेंगे।
*स्वयंसेवक भी नियुक्त होंगे*
एसआईआर में सहयोग के लिये स्वयंसेवक (वॉलेन्टियर) भी नियुक्त किए जायेंगे। ताकि वास्तविक निर्वाचकों, विशेष रूप से वृद्ध, बीमार, दिव्यांग, गरीब तथा अन्य संवेदनशील वर्गों को किसी प्रकार की परेशानी या उत्पीड़न न हो, और उन्हें यथासंभव सभी आवश्यक सुविधाएँ एवं सहायता प्रदान की जा सके।
*मतदान केन्द्रों का होगा युक्तिकरण*
किसी भी मतदान केंद्र में 1200 से अधिक मतदाता नहीं होने चाहिए। नए मतदान केंद्र ऊँची इमारतों, रेज़िडेंट वेलफेयर एसोसिएशन कॉलोनियों तथा झुग्गी बस्तियों में स्थापित किए जाएँ। जिला निर्वाचन अधिकारी नए मतदान केंद्रों के संबंध में राजनीतिक दलों से परामर्श करेंगे। विशेष रूप से इस बात का ध्यान रखा जाएगा कि एक परिवार के सभी सदस्य एक ही मतदान केंद्र में शामिल हों।
*मतदाता सूची के संबंध में अपील की प्रक्रिया*
बैठक में मतदाता सूचियों से संबंधित दावे-आपत्तियों के बारे में अपील की प्रक्रिया भी बताई गई। ईआरओ के निराकरण से संतुष्ट न होने की स्थिति में जिला निर्वाचन अधिकारी के यहाँ अपील की जा सकेगी। जिला निर्वाचन अधिकारी के निर्णय से संतुष्ट न होने पर राज्य के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के यहां अपील की जा सकेगी।




