भोपाल- राजधानी भोपाल में 7 माह से बिना फिटनेस और इंश्योरेंस के दौड़ रही स्कूल बस ने बाणगंगा चौराहे पर रेड सिग्नल में खड़ी ८ गाड़ियों को रौंद दिया। इसमें हमीदिया की इंटर्न महिला डॉक्टर की मौत हो गई। 6 घायल हो गए। दो गंभीर हैं। स्कूटी से हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी स्थित घर लौट रहीं इंटर्न डॉ. आयशा खान (28) टक्कर से उछलकर गिरीं और बस में अगले हिस्से में फंस गईं। बस उन्हें 50 फीट तक घसीट ले गई। बस के नीचे आने से उनकी मौत हो गई। हादसे के बाद परिवहन विभाग ने बस का रजिस्ट्रेशन रद्द कर स्कूल प्रबंधन को नोटिस थमाया। आरटीओ जितेंद्र शर्मा को संभागायुक्त संजीव सिंह ने सस्पेंड कर दिया।
दोपहर दो बजे बाणगंगा चौराहे पर सिग्नल रेड हुआ तो 10 से 12 गाड़ियां सिग्नल के ग्रीन होने का इंतजार कर रही थी। इसी बीच रोशनपुरा चौराहे की ओर आ रही स्कूल बस का ब्रेक फेल हो गया। बस ढलान पर लहराती हुई आई। ड्राइवर अंदर से हटा-हटो… चिल्लाता रहा। इससे पहले लोग उनकी बात से कुछ समझ पाते, बेकाबू बस सिग्नल पर खड़ी 8 गाड़ियों को रौंदते हुए निकल गई। आगे जाकर बस पहले डिवाइडर और फिर एक कार से टकराई। इसके बाद अन्य वाहनों को रौंदते हुए आगे निकल गई। तीन बार टक्कर के बाद बस की गति कम हुई तो डिवाइडर से टकराकर रुक गई। ड्राइवर फरार है।
स्कूल ने बेची बस, मालिकाना हक ट्रांसफर नहीं कराया: बस निजी स्कूल के नाम पर रजिस्टर्ड है। स्कूल ने एक माह पहले इसे ऑपरेटर प्रवेश नागर को बेचा, पर मालिकाना हक ट्रांसफर नहीं कराया। बस का फिटनेस और इंश्योरेंश नवंबर 2024 में ही फेल हो गया। फिर भी नागर बस दौड़ा रहा था।