मध्यप्रदेश

ग्रेस मिशन स्कूल प्रबधंन की मनमानी: अधिकारियों को गुमराह कर पक्की सड़क का निर्माण कर रहा स्कूल प्रबंधन कार्यपालन यंत्री से मिलीभगत कर स्कूल प्रबंधन करा रहा निर्माण,उमरियापान के समीप पकरिया का मामला,पहले मिट्टी मुरम बिछाई अब गिट्टी डाल पक्का निर्माण कार्य कर रहा स्कूल प्रबंधन 

कलयुग की कलम से राकेश यादव

ग्रेस मिशन स्कूल प्रबधंन की मनमानी: अधिकारियों को गुमराह कर पक्की सड़क का निर्माण कर रहा स्कूल प्रबंधन कार्यपालन यंत्री से मिलीभगत कर स्कूल प्रबंधन करा रहा निर्माण,उमरियापान के समीप पकरिया का मामला,पहले मिट्टी मुरम बिछाई अब गिट्टी डाल पक्का निर्माण कार्य कर रहा स्कूल प्रबंधन 

कलयुग की कलम उमरिया पान -पकरिया स्थित ग्रेस मिशन इंग्लिश मीडियम स्कूल प्रबंधन के द्वारा लगाकर मनमानी बरती जा रही है। स्कूल प्रबंधन के हौसलें इतने बढ़े हैं कि पहले तो नर्मदा माइनर नहर का स्वरूप बिगाड़कर बड़े बड़े पत्थर डालें और फिर मुरम बिछाकर सड़क का निर्माण कराया। अब निजी स्कूल प्रबंधन सड़क के ऊपर गिट्टी बिछाकर पक्की सड़क बनाने की तैयारी में हैं। स्कूल प्रबंधन ने माइनर नहर के ऊपर बनी सड़क के ऊपर गिट्टी डलवा दिया है। हालांकि स्कूल प्रबंधन द्वारा सड़क निर्माण का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। लेकिन अधिकारियों से सांठगांठ के बाद स्कूल प्रबंधन पूरी तरह से मनमानी पर उतारू होकर सरकारी जमीन को अपने कब्जे में ले रहा है। वहीं नर्मदा नहर के अधिकारियों का कहना है कि हमनें मिट्टी मुरम डालने की अनुमति दी थी,पक्का निर्माण हुआ तो कार्रवाई होगी। हालांकि एक महीने पहले भी मामला जमकर उछाला तो स्कूल प्रबंधन ने पूरी तरह से काम बंद कर दिया। अब फिर से स्कूल प्रबंधन अपनी कारिस्तानी शुरू कर दी है। ग्रामीणों ने अधिकारियों से इस मामले की शिकायत दर्ज कराई है।

जानकारी के मुताबिक उमरियापान के समीप बिछिया माईनर नहर भी है। पकरिया में इसी माइनर नहर के ऊपर ग्रेस मिशन इंग्लिश मीडियम स्कूल के द्वारा शासन के नियमों को रौंदकर निजी उपयोग हेतू शासकीय भूमि पर ठेकेदार के माध्यम से सड़क बनाने का कार्य कराया जा रहा है।मामले में स्कूल प्रबंधन और कार्यपालन यंत्री की मिलीभगत भी सामने आई है। स्कूल प्राचार्य ने पत्राचार किया और कार्यपालन यंत्री ने स्कूल को फर्जी अनुमति दे दी। स्कूल ने भी सालभर बाद निर्माण कार्य शुरू किया। माइनर नहर के ऊपर सड़क निर्माण कराने से नहर का स्वरूप तो बदला है।नहर की स्थिति भी खराब हो गई है। सड़क की मिट्टी भी नहर में समा गई है। किसानों को तकलीफ है। सड़क निर्माण होने और नहर बाजू में होने से कभी भी दुर्घटना हो सकती है। मामले पर ग्रामीणों ने उच्च अधिकारियों से मामले को अवगत कराकर कार्रवाई की मांग किया है। 

वरिष्ठ अधिकारियों से कार्रवाई की मांग

इस पूरे मामले पर कार्यपालन यंत्री नर्मदा विकास संभाग क्र-4 सिहोरा, जिला जबलपुर की भूमिका पूरे तरीके से संदिग्ध है। जिन्होंने निजी स्कूल प्रबंधन से सांठगांठ कर स्कूल को सड़क बनाने की इशारे इशारे में अनुमति दे दी। कार्यपालन यंत्री अक्सर विवादों के घेरे में बने रहते है। अब भी कार्यपालन यंत्री ने शासन के नियमों को दरकिनार कर स्कूल प्रबंधन से सांठगांठ कर सड़क निर्माण में सहयोग कर दिया। इतना ही कार्यपालन यंत्री ने तो फर्जी अनुमति में महत्वपूर्ण जानकारी छुपाई है, इसके अलावा अपने ही विभाग के अधिकारियों को भी अवगत नहीं कराया। ग्रामीणों का आरोप है कि निजी संस्थान को लाभ पहुँचाने की मंशा से कार्यपालन यंत्री ने संस्थान के लोगों से खासा लेनदेन किया और दलेरी से सड़क निर्माण करवा दिया। मुख्य अभियंता को इसकी जानकारी भी नहीं दिया।ग्रामीणों ने कार्यपालन यंत्री के खिलाफ वरिष्ठ अधिकारियों के पास शिकायत करते हुए कार्रवाई की मांग की है।

इनका कहना है

मिट्टी मुरम बिछाने की अनुमति दी गई थी, पक्के निर्माण की नहीं।स्कूल प्रबंधन द्वारा पक्का निर्माण कार्य कराया जा रहा है तो यह गलत है। मामले की जांच कर कार्रवाई की जाएगी।:- अनिल तिवारी,कार्यपालन यंत्री, नर्मदा विकास, संभाग क्रमांक 4 सिहोरा

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