प्रशासन

चार जिला पंचायत के अध्यक्ष के चुनाव स्थगित, पहले सदस्य के होंगे उपचुनाव, अध्यक्षों के विधायक चुने जाने से खाली हुए हैं पद

कलयुग की कलम से रामेश्वर त्रिपाठी

जबलपुर- प्रदेश के चार जिलों जबलपुर, अशोकनगर, खंडवा और सीहोर के जिला पंचायत अध्यक्ष के शनिवार 30 दिसम्बर को होने वाले चुनाव को स्थगित कर दिया गया है। राज्य निर्वाचन आयोग ने चुनाव स्थगित किए जाने का आदेश शुक्रवार को चारों जिलों के कलेक्टर व जिला निर्वाचन अधिकारी को भेजा है। इस सम्बंध में आयोग ने चुनाव रीशिड्यूल किए जाने की अंडरटेकिंग मध्यप्रदेश हाई कोर्ट में भी दी है।

मालूम हो यहां के अध्यक्ष अब विधायक बन चुके हैं। दोनों में से एक ही पद पर वह रह सकते थे, इसलिए अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था। इनमें जबलपुर जिले के सिहोरा से संतोष बरकड़े, खण्डवा जिले से कंचन तनवे, अशोक नगर जिले के चंदेरी से जगन्नाथ रघुवंशी एवं सीहोर जिले के आष्टा से गोपाल इंजीनियर अध्यक्ष रहते हुए विधायक चुने गए हैं। इस्तीफे के कारण अध्यक्ष पद रिक्त हो गया था। आयोग इन जिला पंचायत अध्यक्षों के लिए चुनाव करा रहा था। स्थगित किए जाने से अब अध्यक्ष से पहले खाली सदस्य के पद पर उपचुनाव कराया जाएगा। राज्य निर्वाचन आयोग ने इसकी अधिसूचना जारी कर दी है, ईवीएम से मतदान 22 जनवरी को होगा।

हाई कोर्ट पहुंचा मामला

अध्यक्ष के रिक्त पदों को भरने के लिए राज्य निर्वाचन आयोग ने 22 दिसम्बर को अधिसूचना जारी कर 30 दिसम्बर को चुनाव कराने के आदेश दिए थे। जबलपुर सहित इन चारों जिलों में चुनाव की प्रक्रिया चल रही थी। याचिकाकर्ता गोपाल सिंह इंजीनियर ने आयोग के इस नोटिफिकेशन को मध्यप्रदेश हाई कोर्ट में चुनौती दी है। हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश रवि मलिमठ और न्यायाधीश मनिन्दर एस भट्टी की खंडपीठ के समक्ष आयोग की ओर से अधिवक्ता ने अध्यक्ष चुनाव के नोटिफिकेशन को रीशिड्यूल करने की अंडरटेकिंग दी। जिसे रिकॉर्ड पर लेकर अवकाश बाद सुनवाई के लिए नियत किया गया।

जिला पंचायत सदस्यों का निर्वाचन कार्यक्रम घोषित

राज्य निर्वाचन आयोग ने विधायकों द्वारा जिला पंचायत अध्यक्ष के साथ ही सदस्य पद से भी इस्तीफा दिए जाने के कारण खाली हुए सदस्य पद के लिए जबलपुर में वार्ड 7, अशोक नगर में वार्ड 5, सीहोर में वार्ड 8 और खंडवा में वार्ड 2 के उपचुनाव के लिए अधिसूचना शुक्रवार को जारी कर दी। सचिव राज्य निर्वाचन आयोग अभिषेक सिंह ने बताया कि निर्वाचन की सूचना का प्रकाशन और नाम निर्देशन पत्र प्राप्त करने का कार्य 30 दिसंबर, नाम निर्देशन पत्र प्राप्त करने की अंतिम तारीख 6 जनवरी 2024 है। नाम निर्देशन पत्रों की जांच 8 जनवरी, प्रत्याशी के नाम वापस लेने की अंतिम तारीख 10 जनवरी है। मतदान 22 जनवरी को सुबह 7 से दोपहर 3 बजे तक होगा। उपचुनाव में मतदान ईवीएम से कराया जाएगा। मतगणना 25 जनवरी को विकासखंड मुख्यालय पर और परिणाम की घोषणा 27 जनवरी को जिला मुख्यालय पर होगी। संबंधित क्षेत्र में आदर्श आचरण संहिता प्रभावशील हो गई है।

जबलपुर में नहीं था बहुमत, कांग्रेस के दो सदस्यों को पाले में किया

जिला पंचायत जबलपुर में भाजपा के पास पहले बहुमत नहीं था। 16 सदस्यीय परिषद में दोनों ही दलों के आठ-आठ सदस्य जीते थे। 2022 के अध्यक्ष चुनाव के दौरान कांग्रेस एक सदस्य ने क्रास वोटिंग कर दी थी, इससे भाजपा के संतोष बरकड़े अध्यक्ष निर्वाचित हो गए थे। बाद में क्रास वोटिंग करने में कांग्रेस की सदस्य आशा गोंटिया का नाम आया था। हालांकि कांग्रेस ने उन पर कार्रवाई नहीं की थी। इस हिसाब से बरकड़े के अध्यक्ष के साथ ही सदस्य पद से इस्तीफा दिए जाने के चलते कांग्रेस के पास आठ और भाजपा के पास सात सदस्य ही बचे थे। हालांकि अध्यक्ष पद के चुनाव को देखते हुए भाजपा ने प्रबंधन किया और शुक्रवार दोपहर बाद कांग्रेस की दो सदस्यों आशा गोंटिया और अंजली पाण्डेय को अपने पाले में ले लिया। कैबिनेट मंत्री राकेश सिंह ने उन्हें पार्टी की सदस्यता दिलाई। शाम तक राज्य निर्वाचन आयोग ने अध्यक्ष का चुनाव स्थगित किए जाने का आदेश जारी कर दिया।

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